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ओपनिंग ब्रोकर

ओपनिंग ब्रोकर

शेयर बाजार में स्क्वायर ऑफ का मतलब

स्क्वायर ऑफ शब्द को समझने से पहले इंट्राडे ट्रेडिंग को समझना जरुरी है। आइए संक्षेप में, समझते हैं की इंट्राडे ट्रेडिंग क्या ओपनिंग ब्रोकर होता है?

इंट्राडे ट्रेडिंग, जैसा कि नाम से ही मालूम होता है।

यह दो शब्दों से जुड़कर बना है – पहला ‘इंट्रा’ और दूसरा डे। मतलब एक ही दिन के अन्दर।

यदि कोई निवेशक शेयर या सिक्योरिटी की खरीदारी और बिक्री एक ही दिन में कर देता है।

तब यह ट्रेड इंट्राडे ट्रेड कहलाता है। यह प्रक्रिया (प्रोसेस) इंट्राडे ट्रेडिंग कही जाती है।

हाँ, ओपनिंग ब्रोकर यह भी हो सकता है। आपने ठीक पढ़ा। यदि आप इस अब तक इस शब्द से अनजान है। आपकी जानकारी के लिए बता दे।

शार्ट सेलिंग में शेयर को आप पहले बेच सकते हो। यदि शेयर आपके डीमैट अकाउंट में नहीं है फिर भी। शर्त एक होती है। आपको शेयर उसी दिन बाजार बंद होने से पहले खरीदना होगा।

1. प्री ओपनिंग सेशन सुबह नौ बजे से के लेकर नौ बजकर सात मिनट तक होता है।

2. ऊपर कहा गया है, ” दोपहर 3:20 तक” यह समय सभी ब्रोकर पर लागू नहीं होता है। कृपया नीचे की टेबल में जाँच ले। यह समय ब्रोकर के हिसाब से अलग अलग होता है।

3. यहां पर शेयर शब्द का प्रयोग किया है। शेयर की जगह ओपनिंग ब्रोकर कोई अन्य सिक्योरिटी भी हो सकती है। अन्य प्रकार की सिक्योरिटी से मतलब डेरीवेटिव, कमोडिटी, करेंसी आदि से है।

स्क्वायर ऑफ का मतलब उदाहरण सहित

शेयर बाजार में स्क्वायर ऑफ का मतलब समझने के लिए हम इन उदाहरण से समझते हैं –

उदाहरण 1- यदि राम ने टाटा मोटर्स के 10 शेयर सुबह खरीदे। फिर शाम को बेच दिए। शाम को शेयर बेचना, अपनी पोजीशन को बंद करना है। पहले लिखा गया है शेयर को ‘शाम को बेचना’ इसका मतलब शाम को बेचना ही नहीं है निवेशक किसी भी समय उसी दिन बेच सकता है।

उदाहरण 2- इसके विपरीत दूसरी स्थिति एक और हो सकती है। कोई व्यक्ति, विकास सुबह सनफार्मा के 5 शेयर को शोर्टसेल करता है। बाद में खरीद लेता है। विकास ने भी शाम एक्सचेंज बंद होने से पहले अपनी पोजीशन बंद की।

उपरोक्त दोनों उदाहरणों में दोनों व्यक्तियों ने अपनी पोजीशन बंद की। यही स्क्वायर ऑफ है।

स्क्वायर ऑफ के प्रकार

स्क्वायर ऑफ दो प्रकार से हो सकता है –

  1. पहला, ऑटोमैटिक स्क्वायर ऑफ
  2. दूसरा, मैनुअल स्क्वायर ऑफ

ऑटोमैटिक स्क्वायर ऑफ, ब्रोकर के द्वारा किया जाता है। जब किसी ट्रेडर की पोजीशन खुली रह जाती है। तब ब्रोकर का सिस्टम पोजीशन को स्क्वायर ऑफ कर देता है।

इस प्रकार की परिस्थिति आम तौर पर दो कारणों से होती है। पहला, जब निवेशक अपनी पोजीशन बना के भूल जाता है। दूसरी स्थिति में, निवेशक अपनी पोजीशन को बंद ही नहीं कर पाता। अक्सर ऐसा सर्किट लगने पर होता है।

ऑटोमैटिक स्क्वायर ऑफ के प्रकार

  1. टाइमर आधारित (Timer Based)
  2. मार्केट टू मार्केट (Market to Market Base)

टाइमर आधारित स्क्वायर ऑफ मोड में, निवेशक की पोजीशन पहले से निर्धारित समय पर हो जाती है। यह समय अलग अलग ब्रोकर के हिसाब से तय होता है। आम तौर पर, यह समय तीन बज कर दस मिनट होता है। दूसरी ओर, किसी ब्रोकर का समय तीन बजकर बीस मिनट भी हो सकता है।

टाइमर बेस ऑटो स्क्वायर ऑफ की विशेषताएँ

  1. इक्विटी और फ्यूचर और ऑप्शन(F&O) में जितनी मार्जिन और इंट्राडे पोजीशन है वे सभी लिमिट/ क्रेडिट होने के बावजूद भी स्क्वायर ऑफ हो जाएगी।
  2. प्रोडक्ट टाइप डिलीवरी में नई पोजीशन तभी बन सकती है जब फंड / लिमिट विस्तार किये हो।

मार्केट टू मार्केट स्क्वायर ऑफ मोड में, किसी ग्राहक की इक्विटी और फ्यूचर और ऑप्शन(F&O) में हुई एमटीएम लॉस की गणना करने के बाद स्क्वायर ऑफ हो जाएगा।

एमटीएम बेस स्क्वायर ऑफ की विशेषताएँ

  1. एमटीएम लॉस की गणना करते हुए केवल बुक किये गए लाभ को ही माना जाएगा।
  2. प्री स्क्वायर ऑफ में 70% और ऑटोस्क्वायर ऑफ में 80% स्क्वायर ऑफ प्रतिशत सेट किया गया है।

मैनुअल स्क्वायर ऑफ, से मतलब है। निवेशक अपनी पोजीशन खुद बंद करता है।

ऑटोमैटिक स्क्वायर ऑफ का समय

ब्रोकरऑटो स्क्वायर ऑफ टाइमऑटो स्क्वायर ऑफ शुल्क
जेरोधा 3:15 से 3:20 PM रु 50 + 18% GST
आईसीआईसीआई डायरेक्ट 3:30 PM रु 50 + 18% GST
HDFC सिक्योरिटीज 3:00 PM रु 50 + 18% GST
अपस्टॉक्स 3:15 PM रु 20 + 18% GST
5 पैसा 3:15 PM रु 20 + 18% GST
एंजेल ब्रोकिंग 3:15PM रु 50 + 18% GST
SBIसिक्योरिटीज 3:05 PM रु 50 + 18% GST

स्क्वायर ऑफ का मतलब, अपनी सेल साइड या बाय साइड पोजीशन को बंद करना होता है। सेल करना एक तरफ़ा प्रक्रिया है।

उदाहरण के लिए: रमेश ने Indusland Bank के 10 शेयर, 1200 रुपये प्रति शेयर के भाव से खरीदे। यह खरीद किसी विशेष तारिख, मान लीजिये 11 नवंबर, 2021 को हुयी।

अब यदि रमेश Indusland Bank के 10 शेयर, उसी दिन ( 11 नवंबर, 2021 ) को बेच देता है। उस स्थिति में इसे Sell Transaction भी कहा जायेगा और स्क्वायर ऑफ भी कहा जायेगा।

दूसरी स्थिति में, रमेश शेयर 11 नवंबर, 2021 के बाद कभी भी बेचता है तब यह केवल Sell Transaction बोला जायेगा।

तीसरी स्थिति में, यदि रमेश इंट्राडे शार्ट सेलिंग करता है तो बाय करने को स्क्वायर ऑफ कहा जायेगा।

यदि कोई ट्रेडर इंट्राडे पोजीशन को स्क्वायर ऑफ नहीं करता है। तब यह पोजीशन ब्रोकर के सिस्टम से स्क्वायर ऑफ की जाती है। ऐसा होने पर ट्रेडर को कॉल और ट्रेड चार्ज भी देना पड़ता है। इसलिए अपनी सारी पोसिशन्स को निर्धारित समय से पहले स्क्वायर ऑफ कर देना चाहिए।

स्क्वायर ऑफ, प्रक्रिया इंट्राडे ट्रेडिंग से जुडी होती है। यदि कोई ट्रेडर इंट्राडे ट्रेड करता है। तब उसको अपनी पोजीशन स्क्वायर ऑफ करनी होती है।

यदि आपने डिलीवरी के लिए कोई शेयर खरीदा है तो वह आपके डीमैट खाते में चला जायेगा। ऐसा होने पर आपको कॉल और ट्रेड का चार्ज भी नहीं देना होता है।

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best stock trading app in india in hindi:-अगर आप ने गूगल पर यह search किया है, तो आप शेयर मार्केट मे नए है , शेयर मार्केट से पैसे कमाना चाहते है । और आप आप एक बेस्ट स्टॉक ट्रैडिंग app को खोज रहे हो ,तो मैं आज आपको best 5 stock trading app in india के बारे मे सारे detail अच्छी तरह से बताऊँगा ।

की ,कौन सा ट्रैडिंग एप annual maintance charge ,equity delivery charge ,intraday brokrage ,demat account charge कितना लेता है । जिससे आप स्पष्ट हो जाएंगे,की आपको कौनसा trading एप use करना है ।

आपको बहुत समझदारी से अपना डेमत अकाउंट खोलनी चाहिए ,नहीं तो आप अपने प्रॉफ़िट का ओपनिंग ब्रोकर एक बड़ा हिस्सा brokrage के रूप मे उस एप को देना पड़ सकता है । तो चलिए जानते है ,उस 5 स्टॉक trading के बारे मे

Table of Contents

best 5 stock trading app in india .

1. about kite by zerodha

zerodha एक discount broker एप है। इसे 2010 मे दो भइयों ने nikhil kamath और nitin kamath ने शुरू किया था । यह एक unicorn startup है । 15%मार्केट शेयर के साथ ये इंडिया के बेस्ट स्टॉक ट्रैडिंग एप बन गया है ।

ये high स्पीड इंटरफेस ,यूजर फ़्रेंडली ,better secruity with biometric ,चार्ट view ,मार्केट वाच ,मैनेज योर पोर्ट्फोलीओ और डार्क मोड अपने एप मे प्रवाइड करता है । आप इससे equity ,कमाडिटी ,currency और फ्यूचर ओपनिंग ब्रोकर &ऑप्शन मे इन्वेस्ट कर सकते है ।

विशेषताये

अभी डाउनलोड करे :-kite by zerodha

2.about upstock -stocks ,mutual funds ,ipo & gold

upstock भी एक डिस्काउंट ब्रोकर एप है । इसको रवि कुमार ,kavitha subromanium ने 2011 मे स्टार्ट कीया । यह यूजर के लिए फास्ट ,सिक्युर एण्ड ईजी एप है ।

ये अपने एप मे आपको acceses चार्ट ,फाइनैन्शल डाटा ,try डेमो ,इन्वेस्ट इन म्यूचूअल फंड ,wtchlist ,sell एण्ड buy with वन क्लिक प्रवाइड कराता है। इसमे रतन टाटा और टाइगर ग्लोबल जैसे invester ने इन्वेस्ट किया है ।

आप इससे equity ,कमाडिटी ,currency , फ्यूचर &ऑप्शन और म्यूचूअल फंड मे इन्वेस्ट कर सकते है।

3. about 5piasa :stocks ,share market trading app ,nse ,bse

5paisa एक डिस्काउंट ब्रोकर एप है, इसे ओपनिंग ब्रोकर 2016 मे lauch किया गया था ।आज इसको 5 m+ से ज्यादा लोगों ने downloads कर रखा है ।

ये यूजर को गुड expreince ,लाइव ट्रैकिंग updates :nse & bse ,transfer फंड ईज़ली ,चार्ट व्यू ,watchlist ,ट्रैक योर watchlist और कस्टमर सपोर्ट अपने एप मे प्रवाइड करती है ।

आप इससे equity ,कमाडिटी ,currency और फ्यूचर &ऑप्शन मे इन्वेस्ट कर सकते है ।

4. about angel broking demat account & stock trading app

angel broking एक फूल सर्विस ब्रोकर एप है ,ये बहुत पुराना और expreince एप है। इसके playstore पर 5 m+ से भी ज्यादा downloaders है। ये बेस्ट सर्विस प्रवाइड कराती है ।

फीचर्स :-चार्ट व्यू ,डार्क मोड ,डीटेल पोर्ट्फोलीओ ,गुड सुपोर्ट सिस्टम ,सिक्युर फंड ट्रैन्स्फर ,लाइव prices

आप इससे equity ,कमाडिटी ,currency , फ्यूचर &ऑप्शन और म्यूचूअल फंड मे इन्वेस्ट कर सकते है।

5. groww -stocks ,demat ,mutual fund ,sip

यह एक डिस्काउंट ब्रोकर एप है ,इसे 2016 मे banglore मे स्टार्ट किया गया । इसका ceo ललित केशरे है । यह इंडिया का बेस्ट म्यूचूअल फंड invevestment एप है ,और यह 2020 मे स्टॉक मार्केट ट्रैडिंग फीचर्स जोड़ा है

फीचर्स :-सिम्पल एण्ड ईजी signup ,स्मार्ट फ़िल्टर to गेट टॉप म्यूचूअल फंड ,sip कैलक्यूलेटर ,वन क्लिक buy एण्ड सेल,गुड सिक्युरिटी

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