विदेशी मुद्रा व्यापार पर कैसे

शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है?

शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है?

नई दिल्ली. क्या आपने कभी ऑनलाइन कोई सामान खरीदा है? जाहिर है आप में से बहुतों ने खरीदा होगा। एक चीज आपने जो नोटिस की होगी वो ये कि यहां सामान आपके पड़ोस के बाजार से सस्ता मिला होगा। तभी आपने लिया। दरअसल ऑनलाइन खरीदने पर हमें सामान सीधे कंपनी के थ्रू मिलता है ई-कॉमर्स वेबसाइट उसमें माध्यम होती है। इसलिए बीच में किसी ब्रोकर का कमीशन औऱ माल ढुलाई, लो़डिंग समेत कई चार्ज उसमें नहीं जुड़ते इसीलिए सामान हमें ई-कॉमर्स कंपनियों से सस्ता मिलता है। देश में 2014 के बाद डिजिटल मार्केटिंग क्षेत्र में बहुत उभार आया है। आज के दौर में कम से कम 50 फीसद मार्केट पर डिजिटल मार्केट का कब्जा हो गया है। बढ़ते हुए डिजिटलाइजेशन ने व्यापार करने के तरीकों को काफी बदल दिया है और इससे काफी नई नौकरियां भी क्रिएट हुई हैं। डिजिटलाइजेशन के कारण ही कंपनियों ने अपने व्यापार के प्रचार करने के तरीके बदल दिए हैं। आज टीवी से भी ज्यादा विज्ञापन डिजिटल प्लेटफॉर्म्स को मिल रहा है। एक सर्वे के मुताबिक भारत में अभी दो लाख से भी अधिक डिजिटल मार्केटिंग जॉब्स की डिमांड बनी हुई है। देश विदेश के बाजार में डिजिटल मार्केटिंग एक्सपर्ट्स की बढ़ती हुई डिमांड को देखते हुए देश की जानी-मानी ऐडटेक कंपनी सफलता डॉट कॉम ने अब देश के युवाओं को डिजिटल मार्केटिंग के गुर सिखाने के लिए एक खास कोर्स Digital Marketing Course – Join Now की शुरूआत की है। इसकी सहायता से आप डिजिटल मार्केटिंग के क्षेत्र में अपना करियर बना सकते हैं।

इंडियन स्टॉक ब्रोकर्स के लिए जरूरी क्वालिफिकेशन्स और करियर स्कोप

एक इंडियन स्टॉक ब्रोकर के तौर पर आपका भविष्य काफी आशाजनक है लेकिन एक प्रोफेशनल स्टॉक ब्रोकर के तौर पर अपना करियर शुरू करने के लिए आपके पास स्टॉक मार्केटिंग की गहरी समझ और अच्छी जानकारी अवश्य होनी चाहिए.

Career Scope for Indian Stock Brokers

यंग इंडियन प्रोफेशनल्स के लिए इन् दिनों स्टॉक मार्केट में बतौर स्टॉक ब्रोकर अपना करियर शुरू करना एक बेहतरीन करियर ऑप्शन साबित हो सकता है. देश-दुनिया के शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है? विभिन्न स्टॉक्स और अन्य सिक्योरिटीज को खरीदने और बेचने के काम को ही ‘स्टॉक ब्रोकिंग’ कहा जाता है. स्टॉक ब्रोकिंग प्रोसेस के बेसिक प्रिंसिपल्स की प्रैक्टिकल नॉलेज देने के लिए स्टूडेंट्स को क्लाइंट्स के साथ ही विभिन्न कंपनियों के लिए स्टॉक खरीदने और बेचने की ट्रेनिंग दी जाती है. भारत में भी आजकल स्टॉक मार्केट की फील्ड में स्टूडेंट्स के लिए बहुत अच्छे करियर्स उपलब्ध हैं. इसलिए, इंडियन स्टॉक ब्रोकर्स का भविष्य काफी आशाजनक है और कुछ वर्षों के वर्क एक्सपीरियंस के बाद, इन प्रोफेशनल्स को काफी अच्छा सालाना सैलरी पैकेज भी मिलता शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है? है. इस आर्टिकल में हम इंडियन स्टॉक ब्रोकर्स के करियर स्कोप के बारे में सारी महत्त्वपूर्ण जानकारी प्रस्तुत कर रहे हैं:

भारत में स्टॉक ब्रोकिंग के लिए एलिजिबिलिटी क्राइटेरिया और एकेडमिक क्वालिफिकेशन्स

हमारे देश में स्टॉक ब्रोकर के तौर पर अपना करियर शुरू करने के लिए स्टूडेंट्स ने प्रेफरेबली कॉमर्स, इकोनॉमिक्स, बिजनेस मैनेजमेंट या मैथ्स विषय सहित अपनी 12वीं क्लास किसी मान्यताप्राप्त एजुकेशनल बोर्ड से पास की हो. सब-ब्रोकर का काम शुरू करने के लिए कैंडिडेट्स की आयु कम से कम 21 वर्ष होनी चाहिए.

बैचलर डिग्री कोर्सेज/ सर्टिफिकेट कोर्सेज

  1. बीए/ बीकॉम – फाइनेंस/ एकाउंटिंग/ इकोनॉमिक्स/ बिजनेस मैनेजमेंट/ मैथ्स
  2. बीएससी – मैथ्स/ इकोनॉमिक्स
  3. NSE सर्टिफिकेट – फाइनेंशिल मार्केट्स
  4. NSE सर्टिफिकेट – मार्केट प्रोफेशनल

मास्टर डिग्री कोर्सेज और पीजी डिप्लोमा कोर्सेज

  1. एमबीए – फाइनेंस
  2. एमकॉम
  3. पोस्ट ग्रेजुएट डिप्लोमा – कैपिटल मार्केट एंड फाइनेंशियल सर्विसेज
  4. पोस्ट ग्रेजुएट डिप्लोमा – फंडामेंटल्स ऑफ़ कैपिटल मार्केट डेवलपमेंट

महत्त्वपूर्ण नोट: इन एजुकेशनल कोर्सेज में से अपने लिए कोई सूटेबल कोर्स सफलतापूर्वक पूरा करने के बाद आपको अपने नाम का रजिस्ट्रेशन सेबी अर्थात सिक्यूरिटीज़ एंड एक्सचेंज बोर्ड ऑफ़ इंडिया के पास अवश्य करवाना होगा. इसी तरह, एक स्टॉक मेंबर बनने के लिए आपको रिटन एंट्रेंस टेस्ट पास करके संबंधित ट्रेनिंग कोर्स पूरा करना होगा. इसके बाद आपको सेबी की मेंबरशिप मिल जायेगी.

आपको मेंबरशिप हासिल करने के लिए निर्धारित राशि संबंधित स्टॉक एक्सचेंज में सिक्यूरिटी के तौर पर जमा करानी होगी. फाइनेंशियल मार्केट में काम करने के लिए आपके पास नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का सर्टिफिकेट होना चाहिए और डेरीवेटिव्स एक्सचेंज में काम करने के लिए कैंडिडेट्स के पास बॉम्बे स्टॉक एक्सचेंज का सर्टिफिकेट होना चाहिए.

टॉप इंडियन एजुकेशनल इंस्टीट्यूशंस से करें स्टॉक ब्रोकिंग के प्रमुख कोर्सेज

  1. इंस्टीट्यूट ऑफ़ कंपनी सेक्रेटरीज़ ऑफ़ इंडिया, नई दिल्ली
  2. इंस्टीट्यूट ऑफ़ कैपिटल मार्केट डेवलपमेंट, नई दिल्ली
  3. दी ओरियन इंस्टीट्यूट ऑफ़ कैपिटल मार्केट, नई दिल्ली
  4. मुंबई स्टॉक एक्सचेंज ट्रेनिंग इंस्टीट्यूट, मुंबई
  5. इंस्टीट्यूट ऑफ़ फाइनेंशियल एंड इन्वेस्टमेंट प्लानिंग, मुंबई
  6. दी यूटीआई इंस्टीट्यूट ऑफ़ कैपिटल मार्केट, मुंबई
  7. इंस्टीट्यूट ऑफ़ चार्टर्ड फाइनेंशियल एनालिस्ट्स ऑफ़ इंडिया, हैदराबाद
  8. इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ़ मैनेजमेंट, अहमदाबाद/ कलकत्ता, बैंगलोर/ लखनऊ

इंडियन स्टॉक ब्रोकर्स के लिए टॉप रिक्रूटिंग कंपनीज़

  1. इन्वेस्टमेंट बैंक्स
  2. पेंशन फंड्स
  3. ब्रोकिंग फर्म्स
  4. म्यूच्यूअल फंड्स
  5. रिसर्च कंपनीज़/ सेंटर्स
  6. फाइनेंसियल/ इन्वेस्टमेंट कंसल्टेंसीज़
  7. न्यूज़पेपर्स एंड मैगजीन्स/ टीवी चैनल्स
  8. इंश्योरेंस कंपनीज़
  9. मर्चेंट बैंक्स/ बैंक्स जो स्टॉक ब्रोकिंग का काम करते हैं
  10. बड़े बिजनेस ग्रुप्स/ हाउसेस और कंपनियां

इंडियन स्टॉक ब्रोकर्स के लिए प्रमुख करियर ऑप्शन्स

हमारे देश में प्रोफेशनल्स स्टॉक मार्केट्स में उपलब्ध निम्नलिखित करियर ऑप्शन्स में से अपने लिए कोई सूटेबल करियर और जॉब प्रोफाइल चुन सकते हैं:

  • बैंक ब्रोकरकिसी बैंक ब्रोकर का काम अन्य स्टॉक ब्रोकर्स के समान ही होता है. दरअसल, ये पेशेवर संबंधित बैंक के विभिन्न क्लाइंट्स के लिए शेयर्स को खरीदते और बेचते हैं लेकिन बैंक ब्रोकर्स को संबंधित बैंक्स ही क्लाइंट बेस उपलब्ध करवाते हैं इसलिए, क्लाइंट्स खुद बैंक ब्रोकर्स से कांटेक्ट करते हैं.
  • इंडिपेंडेंट ब्रोकरये सर्टिफाइड पेशेवर एक इंडिपेंडेंट या स्वतंत्र एजेंट के तौर पर काम करते हैं. इन पेशेवरों को अपने क्लाइंट्स की तलाश खुद करनी होती है इसलिए इनका कम्युनिकेशन स्ट्रोंग होने के साथ ही सोशल-नेटवर्किंग भी मजबूत होनी चाहिए. स्टॉक मार्केट की अच्छी जानकारी और समझ भी इन पेशेवरों को सफलता दिलवाने में प्रमुख भूमिका निभाती है. ये पेशेवर अपना कमीशन या लाभांश खुद ही निर्धारित करते हैं जिस वजह से अपने फायदे या नुकसान के लिए काफी हद तक ये पेशेवर ही जिम्मेदार होते हैं.
  • इक्विटी एनालिस्टये पेशेवर संबंधित संगठन या कंपनी के स्टॉक्स और अन्य फाइनेंशियल प्रोडक्ट्स के लाभ और जोखिम के बारे में पता लगाने के लिए उन कंपनियों या संगठन के परिवेश और मौजूदा फाइनेंशियल कंडीशन्स की स्टडी करता है. ये पेशेवर बड़ी स्टॉक ब्रोकिंग फर्म या बिजनेस संगठन में जॉब करते हैं या फिर एक इंडिपेंडेंट एजेंट के तौर पर भी अपना काम कर सकते हैं.
  • स्टॉक ब्रोकिंग फर्म/ कंपनीऐसी कंपनी अपने क्लाइंट्स बनाकर स्टॉक मार्केट प्रोडक्ट्स में उनका धन इन्वेस्ट करती है. ऐसी किसी कंपनी में काम करने वाले पेशेवर ज्यादा सुरक्षित होते हैं.
  • इन्वेस्टमेंट बैंकरइस पेशे में आपको बहुत अच्छी कमाई करने का अवसर मिलता है क्योंकि ये पेशेवर काफी बड़े लेवल पर कैपिटल और धन का लेन-देन करते हैं. कई कंपनियों के मर्जर्स और एक्वीजीशन्स की डीलिंग भी ये पेशेवर ही करते हैं. ये पेशेवर प्राइवेट कंपनियों के साथ गवर्नमेंट एजेंसियों के लिए भी काम करते हैं.

इंडियन स्टॉक ब्रोकर्स के लिए उपलब्ध हैं कुछ अन्य खास करियर ऑप्शन्स

  1. पर्सनल फाइनेंशियल एडवाइजर/ फाइनेंशियल एडवाइजर
  2. फाइनेंशियल एनालिस्ट/ रिसर्च एनालिस्ट
  3. पोर्टफोलियो मैनेजर
  4. इन्वेस्टमेंट एडवाइजर
  5. कैपिटल मार्केट स्पेशलिस्ट
  6. एकाउंटेंट्स
  7. सिक्यूरिटीज़ एनालिस्ट
  8. फाइनेंशियल मैनेजर
  9. सिक्यूरिटी ट्रेडर्स
  10. सिक्यूरिटी सेल्स रिप्रेजेंटेटिव

इंडियन स्टॉक ब्रोकर्स का सैलरी पैकेज

हरेक अन्य पेशे की तरह ही हमारे देश में इन पेशेवरों को उनकी एजुकेशनल क्वालिफिकेशन, परफॉरमेंस और वर्क एक्सपीरियंस के मुताबिक ही सैलरी पैकेज मिलता है. शुरू में ये पेशेवर एवरेज 2 -3 लाख रुपये सालाना कमा लेते हैं लेकिन कुछ वर्षों के अनुभव के बाद ये पेशेवर एवरेज 5 -7 लाख रुपये सालाना तक कमा लेते हैं. इन पेशेवरों को अपनी परफॉरमेंस के मुताबिक अक्सर इंसेंटिव भी मिलता है. किसी इन्वेस्टमेंट बैंकर के तौर पर ये पेशेवर शुरू में एवरेज 12 लाख रुपये सालाना कमाते हैं और कुछ वर्षों के अनुभव के बाद ये इन्वेस्टमेंट बैंकर्स एवरेज 30 लाख रुपये सालाना भी कमा सकते हैं. इस फील्ड में इंडिपेंडेंट ब्रोकर्स अपने टैलेंट के आधार पर करोड़ों रुपये सालाना भी कमा लेते हैं.

What is Share Broker and D - Mat account ? शेयर ब्रोकर ओर डी - मॅट अकाउंट क्या है ?

दोस्तो अब तक हमने शेयर मार्केट, सेबी,NSE, शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है? BSE, क्या है यह जान लिया आज हम जानने वाले है । शेयर ब्रोकर क्या है ओर D-Mat Account क्या है इसके बारे मे जान ने वाले है इसकी क्या जरूरत है ओर कैसे ओपन करते है।

What is Share Broker and D - Mat account ? शेयर ब्रोकर ओर डी - मॅट अकाउंट क्या है ?
What is Share Broker and D - Mat account ? शेयर ब्रोकर ओर डी - मॅट अकाउंट क्या है ?


जेसे हमें बँक में पैसे जमा करणे के लिए एक बँक acconut कि जरूरत होती है वैसे ही हमे शेयर मार्केट में खरीदे गये शेयर जमा करणे के लिए एक D - mat अकाउंट कि जरूरत होती है। हम शेयर मार्केट से जो शेयर खरीदते हे उन्हे उस में रखना होता है ।यह शेयर पहले physcical फॉम् में आते थे लेकिन अब यह digital फॉर्म में हमे हमारे D mat account में जमा किये जाते है।

लेकिन यह D mat Account हम डायरेक्ट खुद शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है? से ओपन नहीं कर सकते है जेसे हमे बँक अकाउंट ओपन करणे के लिए बँक जाना होता है वेसे हि हमे D mat अकाउंट ओपन करणे के लिए किसी शेयर ब्रोकर कि जरूरत होती है । हम D mat अकाउंट किसी ना किसी शेयर ब्रोकर के साथ शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है? हि ओपन कर सकते है ।

शेयर ब्रोकर क्या है ?

जब हमे शेयर मार्केट में ट्रेडिंग या इन्वेस्टमेन्ट करणी होती है ,तो हम डायरेक्ट NSE या BSE के पास नहीं जा सकते है हमे किसी ब्रोकर कि जरूरत होती है जिसे depositary participate भी कहा जाता है शॉर्ट में Dp.शेयर ब्रोकर यांनी वह व्यक्ती या संस्था होती है जो अपने ग्राहक कि ऑर्डर को एक्सचेंज तक पहूंचाता है।

What is Share Broker and D - Mat account ? शेयर ब्रोकर ओर डी - मॅट अकाउंट क्या है ?
What is Share Broker and D - Mat account ? शेयर ब्रोकर ओर डी - मॅट अकाउंट क्या है ?

लेकिन यह भी हमे डी मॅट अकाउंट के साथ एक ट्रेडिंग अकाउंट भी ओपन करना होता है जो कि हमारा ब्रोकर ओपन करता है डी मॅट अकाउंट के साथ ही जिस के जरिये हम ब्रोकर को ऑर्डर देते हे कि वह हमारे लिए शेयर खरीदे या बेचे यह ऑर्डर ट्रेडिंग अकाउंट से हि लागू होता है। ओर जब यह ऑर्डर लग जाता है तो हमारे D mat अकाउंट में वह शेयर आ जाते है ।

शेयर ब्रोकर को हि स्टॉक ब्रोकर भी कहा जाता है स्टॉक ब्रोकर हमे जब यह सर्विस देता है तो उसके बदले में हमे उसे कुछ ब्रोकरेज देना होता है।यह ब्रोकरेज (पैसे) ऑर्डर के अनुसार होता है ।हम किस सेगमेन्ट में ट्रेडिंग करते है उस पर डिपेंड होता है ।

ट्रेडिंग अकाउंट के भी साल कि कुछ फीस हमे ब्रोकर को देनी होती है । जिसे AMC यांनी Annual maintenance charges कहा जाता है। जो कि अलग अलग ब्रोकर कि कम जादा होती है । जेसे 300 से 500 रु तक लेकिन अब कुछ ब्रोकर फ्री में भी यह service दे रहे है। उसके बारे में हम आपको डिटेल्स जरूर देंगे।

शेयर ब्रोकर के प्रकार :

इस प्रकार के ब्रोकर अपने क्लाइंट को फुल सर्विस देते है जेसे कि कोणसे शेयर कब बेचने हे कब खरीद ने है । ओर मार्जिन मनी कि सुविधा भी देते हे । मार्जिन मनी यांनी आपके पास अगर 1000 रु हे और आप उस से जादा किंमत के शेयर खरीद ना चाहते है तो आपका ब्रोकर आपको extra पैसे provide करता है जिसे मार्जिन मनी केहते है । यह मार्जिन times में होती है जेसे 2×, 3× 4 × इस प्रकार से यांनी आपके पास 1000 रु हे तो आप 2000 3000 या 4000 रु तक के शेयर खरिद सकते है । लेकिन यह मार्जिन लिमिटेड पिरियड तक हि होती है । इस प्रकार कि फुल सर्विस के कारण वह जादा फीस भी charge करते है ।

2) डिस्काउंट स्टॉक ब्रोकर ;

यह ब्रोकर हमे लिमिटेड सर्विस provide करते है जेसे कि वह हमे किसी भी प्रकार के शेयर खरिद ने या बेचने कि सलाह नहीं देते । कॉलिंग ट्रेंड कि फॅसिलिटी भी नहीं देते है । सब कुछ हमे अपने आप हि करना पडता है । लेकिन उनकी फीस ओर ब्रोकरेज भी कम होती है । जादा तर लोग डिस्काउंट ब्रोकर हि प्रेफर करते है । कुछ ब्रोकर शेयर कि डिलिव्हरी पर zero ब्रोकरेज भी charge करते है जो कि क्लाइन्ट यांनी हमारे लिए अच्छा होता है ।

डिस्काउंट सर्विस ब्रोकर के Example :

डी मॅट अकाउंट (D-mat Account) :

D-mat Account के बारे में हमने पहले भी बात कि जेसे हम बँक में पैसे जमा करणे के लिए saving account ओपन करते है वेसे हि शेयर राखने के लिए हमे D-mat Account कि जरूरत होती है । यह अकाउंट पुरी तरह से डिजिटल होता है । इसाका एक नंबर होता हे जिसे DP ID भी कहते हे जो कि 16 अंको का होता है । जब शेयर मार्केट डिजिटल तरिके से काम नहीं करता था तब कोई डी मॅट अकाउंट कि जरूरत नहीं होती थी । जो भी शेयर मिलते थे वह कागज के एक डॉक्यूमेन्ट कि तोर पर मिलते थे । जिने हमे काफी हिफाजत से संभालना होता था । लेकिन आज डिजिटल तरिके से वह हमारे डी मॅट अकाउंट में स्टोर होते राहते है । अगर हमरा ब्रोकर अगर भाग गया या कुछ कारणवश दिवालिया हो गया तब भी हमे किसी प्रकार कि फिकर करणे कि जरूरत नहीं होती। हमारे डी mat account में वह सुरक्षित होते है।

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RailTel: इस कंपनी के शेयर में आई जबरदस्त तेजी,केवल एक महीने में 29 फीसद का जबरदस्त इजाफा

इंडियन रेलवे द्वारा समर्थित RailTel के शेयरों में पिछले कई दिनों से तेजी देखी जा रही है। तीन महीने से इसके शेयर बेहतर प्रदर्शन कर रहे हैं। दूसरी तिमाही में रेलटेल का समेकित शुद्ध लाभ लगभग 55.24 करोड़ था। इससे शेयरों को मजबूती मिली है।

नई दिल्ली, बिजनेस डेस्क। भारतीय रेलवे की पूर्ण स्वामित्व वाली कंपनी रेलटेल के शेयर इन दिनों चर्चा में हैं। रेलटेल कॉर्पोरेशन ऑफ इंडिया ने स्टॉक एक्सचेंज पर 52 सप्ताह का नया उच्च स्तर हासिल किया है। मुनाफे में सुधार के साथ राजस्व के मोर्चे पर अच्छी बढ़त दर्ज करने के बाद निवेशक कंपनी को लेकर उत्साहित हैं।

रेलटेल के शेयर गुरुवार को बीएसई पर 140 से नीचे ट्रेड कर रहे हैं। हाल के दिनों में इसने निवेशकों को दो अंकों में रिटर्न दिया है। तीन महीनों में स्टॉक में लगभग 38 फीसद की तेजी आई है। अकेले शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है? मंगलवार को स्टॉक में 10 फीसद से अधिक की वृद्धि हुई। वित्त वर्ष 2023 की दूसरी छमाही के लिए रेलटेल के मजबूत मार्केट प्राइज को लेकर विश्लेषक आशावादी हैं और उन्होंने स्टॉक में खरीदारी का सुझाव दिया है।

एक महीने में 29 फीसद का इजाफा

बीएसई पर रेलटेल का शेयर मंगलवार को 52-सप्ताह के उच्च स्तर 137.70 पर पहुंचकर 10% से अधिक चढ़ गया। फिलहाल इसका मार्केट कैप करीब 4,4000 करोड़ के आसपास है। दलाल स्ट्रीट पर एक महीने में रेलटेल के शेयर करीब 29 फीसदी चढ़ चुके हैं। शेयरों ने अब तीन महीने में कम से कम 37.9% लाभ दिया है। आपको बता दें कि इसके स्टॉक की कीमत 16 अगस्त, 2022 को 100 रुपये से कम थी। साल-दर-साल आधार पर देखें तो स्टॉक में लगभग 18% की वृद्धि हुई है।

कैसी है कंपनी की बैलेंस शीट

दूसरी तिमाही में रेलटेल का कुल शुद्ध लाभ लगभग 55.24 करोड़ था। Q1FY23 में कंपनी का लाभ 25.85 करोड़ था, यानी इसमें दोगुने से भी अधिक की बढ़ोतरी हुई है। रेलटेल का एबिटा 8.6 फीसद था। निवेशकों ने कंपनी को पॉजिटिव रेटिंग दी है। मुंबई में अपनी स्वतंत्र ब्रोकरेज फर्म चलाने वाले रजिस्टर्ड ब्रोकर अनुभव दयाल का मानना है कि कंपनी के शेयरों में आगे भी उछाल रहने की उम्मीद है।

Disclaimer : इस खबर को पढ़कर कोई भी कदम उठाने से पहले अपनी तरफ से लाभ-हानि का अच्छी तरह से आंकलन या इंटरनेट पर रीसर्च ज़रूर कर लें और किसी भी तरह के कानून का उल्लंघन न करें। इस खबर में जो भी जानकारी दी गई है उसकी पुष्टि tellysky.com द्वारा नहीं की गई है यह सारी जानकारी हमें सोशल और इंटरनेट मीडिया के जरिए मिली है और इसे मनोरंजन के लिए तैयार किया गया है।

हर वर्ष 2 लाख से अधिक जॉब्स दे रहा है ये फील्ड, बनाना चाहते हैं करियर तो करें ये काम


नई दिल्ली. क्या आपने कभी ऑनलाइन कोई सामान खरीदा है? जाहिर है आप में से बहुतों ने खरीदा होगा। एक चीज आपने जो नोटिस की होगी वो ये कि यहां सामान आपके पड़ोस के बाजार से सस्ता मिला होगा। तभी आपने लिया। दरअसल ऑनलाइन खरीदने पर हमें सामान सीधे कंपनी के थ्रू मिलता है ई-कॉमर्स वेबसाइट उसमें माध्यम होती है। इसलिए बीच में किसी ब्रोकर का कमीशन औऱ माल ढुलाई, लो़डिंग समेत कई चार्ज उसमें नहीं जुड़ते इसीलिए सामान हमें ई-कॉमर्स कंपनियों से सस्ता मिलता है। देश में 2014 के बाद डिजिटल मार्केटिंग क्षेत्र में बहुत उभार आया है। आज के दौर में कम से कम 50 फीसद मार्केट पर डिजिटल मार्केट का कब्जा हो गया है। बढ़ते हुए डिजिटलाइजेशन ने व्यापार करने के तरीकों को काफी बदल दिया है और इससे काफी नई नौकरियां भी क्रिएट हुई हैं। डिजिटलाइजेशन के कारण ही कंपनियों ने अपने व्यापार के प्रचार करने के तरीके बदल दिए हैं। आज टीवी से भी ज्यादा विज्ञापन डिजिटल प्लेटफॉर्म्स को मिल रहा है। एक सर्वे के मुताबिक भारत में अभी दो लाख से भी अधिक डिजिटल मार्केटिंग जॉब्स की डिमांड बनी हुई है। देश विदेश के बाजार में डिजिटल मार्केटिंग एक्सपर्ट्स की बढ़ती हुई डिमांड को देखते हुए देश की जानी-मानी ऐडटेक कंपनी सफलता डॉट कॉम ने अब देश के युवाओं को डिजिटल मार्केटिंग के गुर सिखाने के लिए एक खास कोर्स Digital Marketing Course – Join Now की शुरूआत की है। इसकी सहायता से आप डिजिटल मार्केटिंग के क्षेत्र में अपना करियर बना सकते हैं।

लोगों को नौकरी दिलाने में अहम भूमिका निभाने वाली एक वेबसाइट के मुताबिक डिजिटल मार्केटिंग एक्सपर्ट्स की नौकरी अभी टॉप 10 डिमांड्स वाली नौकरियों में शामिल है। साथ ही डिजिटल मार्केटिंग की डिमांड हर साल 25 से 30 फीसदी के हिसाब से बढ़ रही है। यानी आने वाले कई शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है? सालों तक इस फील्ड में नौकरियों की कोई कमी नहीं होने जा रही है। वहीं भारत में भी 2025 तक इंटरनेट यूजर्स की संख्या 95 करोड़ से भी अधिक हो जाने की संभावना है। इंटरनेट यूजर्स की बढ़ती हुई संख्या से इस फील्ड में और भी कस्टमर तैयार होंगे। इससे डिजिटल मार्केटिंग की दुनिया और भी बढ़ेगी और भविष्य में इसमें रोजगार के और भी अवसर उत्पन्न होंगे। इसलिए यदि आप डिजिटल मार्केटिंग फील्ड में करियर बनाना चाहते हैं तो आप सफलता के डिजिटल मार्केटिंग कोर्स में दाखिला लेकर अपना सपना पूरा कर सकते शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है? हैं।

डिजिटल मार्केटिंग में करियर बनाने के लिए आपको अपने इंट्रेस्ट पर काम करना होगा। जिन्हें कंटेंट लिखना पसंद है वो कंटेंट मार्केटिंग के क्षेत्र में जा सकते हैं। इसी तरह एसईओ और ईमेल मार्केटिंग के क्षेत्र में जाने के लिए ऑनलाइन कोर्स उपलब्ध हैं। ईमेल मार्केटिंग, टेलीविजन मार्केटिंग, टेलिफोन मार्केटिंग, सोशल मीडिया मार्केटिंग और रेडियो मार्केटिंग में भी आप जा सकते हैं।

देश की जानी-मानी ऐडटेक कंपनी सफलता ने युवाओं की मदद के लिए कई प्रोफेशनल और स्किल ओरिएंटेड शॉर्ट और लॉन्ग टर्म कोर्सेस की शुरुआत की है जहां से आप घर बैठे खुद को एक किसी फील्ड का प्रोफेशनल बना सकते हैं। यहां ग्रॉफिक डिजाइनिंग और डिजिटल मार्केटिंग के साथ कई कोर्स मौजूद हैं। सफलता के डिजिटल मार्केटिंग का कोर्स करने के बाद आप सोशल मीडिया मैनेजर, SEO एक्सक्यूटिव, PPC एक्सपर्ट्स, कंटेंट मार्केटर, ई-कॉमर्स मैनेजर, सोशल मीडिया मार्केटिंग, सर्च इंजन ऑप्टिमाइजेशन/मार्केटिंग और ईमेल मार्केटिंग जैसे काम को बड़े आसानी से कर सकेंगे। इतना ही नहीं सरकारी नौकरी का सपना देख रहे युवाओं के लिए भी सफलता पर लगभग सभी प्रतियोगी परीक्षाओं की तैयारी के लिए कोर्सेस हैं। यहां से पढ़कर सैकड़ों युवाओं ने सरकारी और प्राइवेट सेक्टर में शानदार नौकरियां हासिल की हैं। तो देर किस बात की आज ही सफलता से जुड़े और अपना शानदार करियर बनाएं। आप अपने फोन में safalta app डाउनलोड कर भी इन कोर्सेस से जुड़ सकते हैं।

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Stock Broker या Share Broker क्या है और कैसे बनें?

शेयर मार्केट, स्टॉक एक्सचेंज ,स्टॉक ब्रोकर, सेंसेक्स यह सारे टर्म तो आपने जरूर सुने होंगे कम टाइम में इन्वेस्टमेंट करके अच्छे पैसे कमाने की चाहत रखने वाले लोग अक्सर स्टॉक एक्सचेंज में पैसे निवेश करते हैं आम भाषा में जिसे शेयर मार्केट कहते हैं लेकिन इंवेस्टर शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है? और शेयर मार्केट के बीच जो व्यक्ति मीडिएटर के तौर पर काम करता है उसको स्टॉक ब्रोकर कहते हैं आज के इस आर्टिकल में हम आपको बताएंगे कि कैसे आप एक स्टॉक ब्रोकर बन सकते हैं ।

स्टॉक ब्रोकर क्या होता है

ब्रोकर के बिना शेयर मार्केट का बिजनेस अधूरा है स्टॉक एक्सचेंज और इन्वेस्टर के बीच स्टॉक ब्रोकर एक कड़ी का काम करता है बिना ब्रोकर के कोई भी इन्वेस्टर या निवेशक अपना ट्रेड या शौदा शेयर मार्केट में ना खरीद सकता है ना ही बेच सकता है अगर आप शेयर मार्केट में कदम रखना चाहते हैं तो आपको एक डीमैट अकाउंट और एक ट्रेडिंग अकाउंट की जरूरत पड़ती है और यह दोनों ही अकाउंट को स्टॉक ब्रोकर ही खोलता है किसी भी इन्वेस्टर के बाय या सेल के आर्डर को स्टॉक एक्सचेंज तक पहुंचाने का काम स्टॉक ब्रोकर का ही होता है जनरली शेयर मार्केट में दो तरह के स्टॉक ब्रोकर काम करते हैं –

1- फुल सर्विस स्टॉक ब्रोकर और
2-डिस्काउंट स्टॉक ब्रोकर

1- फुल सर्विस स्टॉक ब्रोकर – फुल सर्विस स्टॉक ब्रोकर की फीस ज्यादा होती है इसकी वजह है की फुल सर्विस स्टॉक ब्रोकर अपने क्लाइंट को ढेर सारी सर्विस उपलब्ध कराते हैं जैसे स्टॉक एडवाइजरी यानी कौन सा शेयर कब खरीदे और कब बेचे स्टॉक खरीदने की मार्जिन मनी की सुविधा मोबाइल फोन पर ट्रेडिंग फैसिलिटी आईपीओ में इन्वेस्ट की सुविधा इसके अलावा भी फुल टाइम स्टॉक ब्रोकर की कस्टमर सर्विस काफी अच्छी मानी जाती है इनकी सब ब्रोकर या ब्रांच कई शहरों में होती है कुछ पॉपुलर फुल सर्विस स्टॉक ब्रोकर हैं ICICI direct, Sherkhan,, HDFC securities आदि ।

2- डिस्काउंट स्टॉक ब्रोकर – डिस्काउंट स्टॉक ब्रोकर काफी कम ब्रोकरेज लेकर शेयर को खरीदने और बेचने की फैसिलिटी देते हैं डिस्काउंट स्टॉक ब्रोकर इसीलिए कम फीस लेते हैं यह ब्रोकर अपने क्लाइंट को स्टॉक एडवाइजरी और रिसर्च फैसिलिटी नहीं देते इनके ऑफिस भी कुछ बड़े-बड़े शहरों में ही होते हैं अकाउंट ओपन करने के साथ-साथ इनका ज्यादा काम ऑनलाइन ही होता है इसीलिए इनकी फीस भी बहुत कम होती है भारत में कुछ पॉपुलर डिस्काउंट ब्रोकर हैं zerodha, SAS online master capital services limited आदि।

Stock broker बनने का प्रोसेस

स्टॉक ब्रोकर बनने के लिए आप फाइनेंशियल मार्केट का कोई भी कोर्स कर सकते हैं कॉमर्स, एकाउंटेंसी इकोनॉमिक्स, स्टेास्टिक या बिजनेस इकोनॉमी की नॉलेज भी आपको हेल्प करेगी इन सब्जेक्ट में ग्रेजुएशन या पोस्ट ग्रेजुएशन की डिग्री ली जा सकती है नेशनल स्टॉक एक्सचेंज का एनसीएफएम कोर्स एक ऑनलाइन सर्टिफिकेशन प्रोग्राम है जो यह चेक करता है कि कि स्टॉक मार्केट प्रोफेशनल में फाइनेंशियल मार्केट के लिए जरूरी प्रैक्टिकल नॉलेज और स्किल है या नहीं इस सर्टिफिकेट को लेने के लिए आपकी मैथ और इंग्लिश में अच्छी पकड़ होनी चाहिए नेशनल इंस्टिट्यूट ऑफ फाइनेंसियल मैनेजमेंट नेशनल स्टॉक एक्सचेंज ऑफ़ इंडिया लिमिटेड मिलकर पोस्ट ग्रेजुएट एग्जीक्यूटिव प्रोग्राम इन फाइनेंशियल मार्केट करने का मौका देते हैं इस प्रोग्राम के लिए 50% मार्क्स के साथ ग्रेजुएशन डिग्री होनी चाहिए बीएसई इंस्टीट्यूट लिमिटेड भी ऑनलाइन सर्टिफिकेशन प्रोग्राम देता है यह स्टॉक एक्सचेंज ऑपरेशंस की डिटेल नॉलेज देता है।

स्टॉप ब्रोकर बनने के लिए योग्यता

स्टॉक ब्रोकिंग एक फाइनेंशियल रिस्क से भरा हुआ मार्केट है इसलिए यहां काम करने शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है? के शेयर मार्केट में ब्रोकर क्या है? लिए एकेडमिक क्वालीफिकेशन के साथ-साथ अच्छी एनालिटिकल स्किल अलर्टनेस ,बुद्धि और रिसर्च स्किल होनी जरूरी है आपके पास स्टॉक ट्रेडिंग प्रैक्टिस और प्रोसेस की अच्छी जानकारी भी होनी चाहिए अलग-अलग सेक्टर और इंडस्ट्रीज के बारे में जागरूकता भी आपको इस फील्ड में आगे कर देगी मार्केट में क्या कुछ नया है क्या चेंज आ रहा है कितने उतार-चढ़ाव आ रहे हैं इन सब के बारे में लेटेस्ट अपडेट भी रखना पड़ता है अगर आप इस फील्ड में एक्सपर्ट बनना चाहते हैं तो अच्छी कंप्यूटर स्केल के साथ-साथ डिसीजन मेकिंग टीम वर्क रिसर्च एप्टीट्यूड और फाइनेंस इंडस्ट्री की जानकारी आपको सक्सेसफुल बना सकती है इस फील्ड में लॉन्ग वर्किंग टाइम होता है और प्रेशर हैंडलिंग भी आनी चाहिए इसलिए।

स्टॉक ब्रोकर के लिए जॉब अपॉर्चुनिटी

एजुकेशनल एक्सपर्टाइज्ड एक्सपीरियंस को बेस करते हुए आप इक्विटी ट्रेडर, इक्विटी एडवाइजर ,स्टॉक एडवाइजर वेल्थ मैनेजर ,फाइनेंशियल एनालिस्ट ,इन्वेस्टमेंट एडवाइजर ,सिक्योरिटी एनालिस्ट और रिस्क मैनेजर के तौर पर नौकरी भी पा सकते हैं इस फील्ड में काम के मौके आपको स्टॉक एक्सचेंज रेगुलेशन अथॉरिटी फॉरेन इन्वेस्टमेंट फर्म्स इन्वेस्टमेंट कंसलटेंसी म्यूच्यूअल फंड कंपनी ब्रोकर फॉर्म्स इंश्योरेंस एजेंसी बैंक को और दूसरे फाइनेंसियल इंस्टिट्यूट में जॉब अपॉर्चुनिटी मिलती है स्टॉक ब्रोकर बनने के लिए आप एक सब ब्रोकर के तौर पर शुरुआत कर सकते हैं सब ब्रोकर स्टॉक एक्सचेंज का ट्रेंडिंग मेंबर नहीं होता है लेकिन वह ग्राहकों को सेवाएं देने ने स्टॉक ब्रोकर उनकी हेल्प करता है सब ब्रोकर बनने के लिए आपके पास पैन कार्ड आधार कार्ड और एजुकेशनल सर्टिफिकेट होने जरूरी है इसके अलावा आपके घर और ऑफिस के पते का प्रूफ और सीए का रेफरेंस लेटर भी होना चाहिए यह बहुत जरूरी है कि आप बुद्धिमानी से ब्रोकरेज फर्म चुने आपको कभी भी ऐसा कुछ नहीं भेजना चाहिए जिससे कोई खरीदने को राजी ना हो इस वजह से ब्रोकरेज फर्म के बारे में अच्छे से रिसर्च करें आपको पता होना चाहिए कि इन्वेस्टर्स किसे पसंद कर रहे हैं आपके ब्रोकर के पास अच्छी ब्रांड इक्विटी और रिकॉल वैल्यू होनी चाहिए जिससे नए कस्टमर हासिल करने में आसानी होगी आमतौर पर इन्वेस्टर्स उनको प्रायोरिटी देते हैं जिनके पास फ्लैट फी स्ट्रक्चर वैल्यू ऐडेड सर्विसेज होती हैं और जो स्पॉट ऑन वजन भी देती है सब ब्रोकर बनने के लिए कुछ शर्तें होती हैं जिन्हें आप को पूरा करना होगा एक सब ब्रोकर या मास्टर फ्रेंचाइजी मालिक के तौर पर आपको लगभग 200 स्क्वायर फुट के ऑफिस में बनाने की जरूरत होगी यह स्पेस आमतौर पर ब्रोकरेज फर्म पर डिपेंड करता है जिसके साथ आप जा रहे हैं आपको लगभग 1 से 200000 या उससे ज्यादा का रिफंडेबल फीस जमा करना होगा साथ ही अपने जोकर का कमीशन स्ट्रक्चर भी चेक कर लीजिएगा शुरुआत में आपने जिस ब्रोकिंग फॉर्म को चुना है वहां से कॉल बैक का रिक्वेस्ट डालें फोन पर ही आपके बारे में पढ़ाई लिखाई के बारे में और पहले के कामकाज के बारे में जानकारी ली जाएगी इसके साथ-साथ कुछ बेसिक सवाल भी पूछे जाएंगे लास्ट में आपको रजिस्ट्रेशन फीस देना होगा पेमेंट के बाद आपको अपने खाते का बिजनेस टैग मिलेगा आपके ब्रोकर के आधार पर आप और आपके कर्मचारी ट्रेडिंग प्लेटफॉर्म कस्टमर सपोर्ट और मार्केटिंग मैकेनिज्म पर ट्रेनिंग और जानकारी प्राप्त करेंगे इसके बाद आप अपना काम शुरू कर सकते हैं जब काम शुरू हो जाएगा तो जाहिर है कि कमाई भी शुरू हो जाएगी एक स्टॉक ब्रोकर या सब ब्रोकर के तौर पर आपको रजिस्ट्रेशन करवाना पड़ता है रजिस्ट्रेशन के लिए आपको पर्सनल डिटेल्स के साथ पैन कार्ड और शेयर मार्केट की किस फील्ड में काम करेंगे उसकी डिटेल भी देनी पड़ती है सर्टिफिकेट ऑफ रजिस्ट्रेशन मिलने के बाद ट्रेडिंग का काम शुरू किया जा सकता है स्टॉक ब्रोकिंग का बिजनेस संभालना आसान काम नहीं है कस्टमर्स के पैसे ना डूबे इसके लिए आपको हमेशा सजग रहना होता है सही टाइम में शेयर खरीदने और बेचने का एक्सपीरियंस आपके इन्वेस्टर्स के प्रॉफिट को बढ़ाएगा और आपका कैरियर भी इसी के साथ ग्रुप करेगा इसके साथ ही आपको कॉम्प्लिकेटेड सिचुएशंस में सही डिसीजन लेने की जरूरत पड़ती है और यह तभी पॉसिबल होगा जब आपको अपनी फील्ड की पूरी जानकारी होगी अपनी कम्युनिकेशन स्किल्स पर काम करना आपको अच्छा बिजनेस दिलाएगा

स्टॉक ब्रोकर की सैलरी

एक स्टॉक ब्रोकर की सैलरी पूरी तरह से उसके नॉलेज और परफॉर्मेंस पर डिपेंड करती है यह दो तीन लाख से लेकर 78 लाख सालाना तक जा सकती है इसके अलावा भी अगर आप पर्सनल इन्वेस्टमेंट करते हैं तो इससे आप अपनी खुद की मोटी कमाई कर सकते हैं शेयर मार्केट एक ऐसा क्षेत्र है जहां थ्योरी से ज्यादा प्रैक्टिकल नॉलेज की जरूरत होती है इसीलिए आप का बढ़ता एक्सपीरियंस आपको कामयाबी की ओर ले जाएगा अगर आप अपने इंटरेस्ट के हिसाब से पहले से ही किसी एक्सपीरियंस व्यक्ति के साथ उठते बैठते हैं तो आपकी जानकारी बढ़ेगी साथ ही इसके बारे में आप जितना ज्यादा रिसर्च करेंगे उतना ही आपको फायदा होगा।

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