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अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है

अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है

अंतरराष्ट्रीय व्यापार के लाभ एवं हानियों का वर्णन कीजिए ? Describe the advantages and disadvantages of international trade ?

आर्थिक आवश्यकताओं की संतुष्टि के साथ-साथ आर्थिक विकास को गतिशील बनाने में भी अंतरराष्ट्रीय व्यापार की महत्वपूर्ण भूमिका रहती है अंतरराष्ट्रीय व्यापार के फलस्वरूप लोगों में अधिक समय तक जीवित रहने विभिन्न आवश्यकताओं को संतुष्ट करने एवं रहन-सहन का स्तर पर को बढ़ाने की इच्छा उत्पन्न होती हैसाथ ही साथ अंतरराष्ट्रीय व्यापार से लोगों में शिक्षा एवं ज्ञान का विस्तार होता है आता है यह कहना ठीक होगा कि अंतरराष्ट्रीय व्यापार आधुनिक युग समृद्धि का विस्तार होता है बल्कि विश्व शांति की स्थापना में भी सहायता मिलती है !

अंतरराष्ट्रीय व्यापार से निम्नलिखित लाभ प्राप्त होते हैं:-

भौगोलिक तथा प्रादेशिक श्रम विभाजन संभव:- अंतरराष्ट्रीय व्यापार के फलस्वरूप दो देशों के बीच भौगोलिक एवं प्रादेशिक श्रम विभाजन संभव हो जाता है प्रत्येक देश वही माल तैयार करता है जिसके उत्पादन में उसे अधिकतम प्रकृतिक लाभ होता है तथा उनके उत्पादन लागत न्यूनतम होती है इस प्रकार दोनों देश है ऐसी वस्तुओं के उत्पादन में विशेष जाता प्राप्त कर लेते हैं यह देश अपनी इन वस्तुओं का निर्यात करके विदेशों में ऐसी वस्तु का याद करते हैं जिनके उत्पादन में उनको प्राकृतिक लाभ प्राप्त नहीं होता इन सभी बातों के फल स्वरुप संसार के सभी देशों में उत्पादन अनुकूल परिस्थितियों में होने लगता है और इससे मानव जाति के कल्याण में वृद्धि होती है !

उपभोक्ताओं को सस्ती वस्तुओं की तरफ- अंतरराष्ट्रीय व्यापार के पास और उपभोक्ताओं को अपेक्षाकृत सस्ती कीमतों पर वस्तुएं प्राप्त हो जाती है इससे उनके रहन-सहन के स्तर में वृद्धि होती है इसके अतिरिक्त विदेशी व्यापार के माध्यम से उपभोक्ताओं को ऐसी वस्तुएं प्राप्त हो जाती है जिनका देश के अंदर उत्पादन नहीं होता है !

प्रकृतिक संसाधनों का समुचित उपयोग- अंतरराष्ट्रीय व्यापार के प्राकृतिक संसाधनों का उत्पादन कार्यों में पूर्ण उपयोग होने लगता है एडम स्मिथ के अनुसार देश की भूमि एवं श्रम का व अतिरिक्त काम मैं आ जाता है जिसकी देश में कोई मान नहीं होती इसके बदले में वह मिल जाता है जिसकी देश में मांग होती है टेबल के अनुसार अंतरराष्ट्रीय व्यापार के कारण उत्पादक शक्तियां देश के प्राकृतिक संसाधनों का खुलकर प्रयोग करती है जिससे अधिकतम लाभ प्राप्त की संभावना रहती है रिकार्डों के अनुसार अंतरराष्ट्रीय व्यापार के फल स्वरुप आंतरिक प्रकृतिक संसाधनों का प्रयोग किया जा सकता है !

वस्तु तथा सेवाओं की कीमतों में समानता- अंतरराष्ट्रीय व्यापार के द्वारा विभिन्न देशों के उत्पादकों के बीच परस्पर प्रतियोगिता सभी देशों में वस्तुओं एवं सेवाओं की कीमतों में समानता स्थापित हो जाती है इससे सभी देशों को लाभ होता है !

उत्पादन में सुधार- अंतरराष्ट्रीय व्यापार के कारण देश के उद्योगपतियों को सभी विदेशी प्रतियोगिता का सामना करना अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है पड़ता है इसलिए वह सदैव वैज्ञानिक उत्पादन वीडियो के सदस्यों में कमी करके उसमें तैयार करने का प्रयत्न करते हैं इससे देश की संपूर्ण व्यवस्था को लाभ होता है !

औद्योगिकरण का विस्तार- राष्ट्र के माध्यम से विभिन्न तकनीकी ज्ञान का याद कर सकते हैं और इस प्रकार की सहायता मिलती है व्यापार के पिछड़े क्षेत्रों का विकास संभव होता है !

एकाधिकार प्रवृत्ति पर रोक- अंतरराष्ट्रीय व्यापार के कारण देश में एकाधिकार व्यवसाय नहीं बनने के कारण है क्योंकि उन्हें सदैव विदेशी प्रतियोगिता का भय बना रहता है !

आर्थिक संकट काल में सहायता- बहुत से देशों में पहाड़ा कानपुर का महामारी युद्ध के कारण गंभीर संकट की स्थिति उत्पन्न हो जाती है ऐसी स्थिति में अंतरराष्ट्रीय व्यापार के द्वारा वह देश वस्त्र दवाइयां आवश्यक वस्तुएं विदेशों से आयात करके संकट का सामना कर सकता है !

अंतर्राष्ट्रीय सहयोग का विकास- अंतर्राष्ट्रीय व्यापार का एक बहुत बड़ा लाभ यह होता है कि इससे विभिन्न देशों में परस्पर सहयोग तथा सद्भावना का विकास होता है अंतरराष्ट्रीय तनाव में कमी आती है देशों के राजनीतिक तथा सांस्कृतिक संबंध अच्छे हो जाते हैं और राजनीतिक अस्थिरता का वातावरण उत्पन्न हो जाता है !

सांस्कृतिक भावनाओं का प्रसारण- अंतरराष्ट्रीय व्यापार के कारण विभिन्न अन्य देशों के संपर्क में आते हैं जिससे वे परस्पर एक दूसरे देशों के सांस्कृतिक मान्यताओं एवं नैतिक परंपराओं से परिचित हो जाते हैं अंतरराष्ट्रीय व्यापार के माध्यम से ही हम नहीं-नहीं भाषाओं एवं आकर्षक निवृत्ति रिवाज सकते हैं अंतरराष्ट्रीय व्यापार के द्वारा केवल विभिन्न देशों के मध्य व्यापारिक संबंध ही नहीं बढ़ते हुए इसके द्वारा में विभिन्न देशों की संस्कृति का ज्ञान भी मिलता है !

अंतर्राष्ट्रीय व्यापार की हानियां:-

अंतरराष्ट्रीय व्यापार लाभदायक है किंतु फिर भी देश आत्मनिर्भर बनाना चाहते हैं इसका प्रमुख कारण अंतरराष्ट्रीय व्यापार से होने वाली हानियां है जो निम्नलिखित-

विदेशी प्रतियोगिता का प्रतिकूल प्रभाव- अंतरराष्ट्रीय व्यापार के कारण विदेशी उद्योगों को कठोर विदेशी प्रतियोगिता का सामना करना पड़ता है परिणाम स्वरूप देश के नव विकसित उद्योग नष्ट हो जाते हैं और नए उद्योगों की स्थापना नहीं होने पाती है उदाहरणार्थ 19वीं शताब्दी में ब्रिटिश प्रतियोगिता के कारण अनेक भारतीय उद्योग ठप हो गए थे !

कच्चे माल की समाप्ति- अंतरराष्ट्रीय व्यापार के कारण बहुत से देशों का कच्चा माल मुख्यता है खनिज पदार्थ शीघ्र ही समाप्त हो सकती है इसलिए ऐसे देशों को आगे चलकर भारी कठिनाइयों का सामना करना पड़ सकता है !

देश का एकाकी विकास- अंतरराष्ट्रीय व्यापार के कारण अंतर्राष्ट्रीय व्यापार भौगोलिक श्रम विभाजन एवं विशेष जाति के आधार पर किया जाता है प्रत्येक देश के 1 वस्तुओं का उत्पादन करता है जिससे उन्हें अधिकतम लाभ प्राप्त होता है इस प्रकार देश में सभी उद्योगों का विकास ना होकर केवल कुछ ही उद्योग धंधे विकसित हो पाते हैं इस प्रकार के एक का की निकासी देश के अनेक साधन बेकार ही पड़े रहते हैं और उनका समुचित दोहन नहीं हो पाता है !

राशिपातन का भय- अंतरराष्ट्रीय व्यापार में विकसित एवं उन्नत देश कभी-कभी बिछड़े हुए देशों में अपने माल को बहुत ही कम मूल्य पर बेचना शुरू कर देते हैं और कभी-कभी तो भी अपने माल उत्पादन लागत से भी कम होने पर भेजते हैं इस नीति को राशिपातन कहते हैं !

उपभोक्ताओं की आदतों पर बुरा प्रभाव- अंतरराष्ट्रीय व्यापार के माध्यम से उपभोक्ताओं को अनेक वस्तुएं सस्ते मूल्य पर मिलने लगती है इसलिए वह उनके आदी हो जाती है किंतु यदि किसी कारणवश उन वस्तुओं का आयात बंद हो जाता है तो इससे उपभोक्ताओं को बहुत कष्ट उठाना पड़ता है !

देश में आवश्यक वस्तुओं की कमी- कभी-कभी अंतरराष्ट्रीय व्यापार के कारण देश में आवश्यक वस्तुओं की कमी उत्पन्न हो जाती है क्योंकि ऐसी वस्तुओं का बड़े पैमाने पर अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है निर्यात किया जाता है !

अंतरराष्ट्रीय द्वेष तथा संघर्ष- इतिहास इस बात का साक्षी है कि राजनीतिक क्षेत्र में गला काट प्रतियोगिता आपसी द्वेष धरना प्रदर्शन करेगा अंतरराष्ट्रीय व्यापार के कारण का उत्पन्न हुए हैं साम्राज्यवाद कमजोर व विकसित देशों का आर्थिक शोषण बहुत कुछ विदेशी व्यापार के परिणाम रहे हैं !

आज से दिल्ली में शुरू हुआ 'अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मेला', इस डेट से होगी जनता की एंट्री

Kavita Singh Rathore

दिल्ली, भारत। पिछले काफी समय से 'अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मेला' (International Trade Fair) चर्चा में है। जिसका काफी समय से लोगों को इंतज़ार था आज इसकी शुरुआत हो चुकी है। जो कि, दिल्ली के प्रगति मैदान में हुई है। यह मेला 2 हफ्ते यानी 14 से 27 नवंबर तक जारी रहेगा। हालांकि, फिलहाल यह जनता के लिए नहीं खोला गया है। इस व्यापार मेले में हर दिन लगभग 40,000 दर्शकों के आने की उम्मीद जताई जा रही है।

आज से हुई अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेले की शुरुआत :

दरअसल, आज से देश की राजधानी दिल्ली के बहुचर्चित प्रगति मैदान में अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मेला' (International Trade Fair) की शुरुआत हो गई है। भले इस मेले की शुरुआत आज से हो गई हो, लेकिन देश की आम जनता के लिए यह 19 नवंबर 2022 से खोला जाएगा। इसलिए, फिलहाल लोगों को कुछ समय का और इंतज़ार करना होगा। इस मेले के चलते आज से ही मथुरा रोड, भैरों मार्ग, रिंग रोड, शेरशाह रोड और पुराना किला रोड पर ट्रैफिक जाम होने की संभावना जताई जा रही है। यदि आप दिल्लीवासी हो तो इस बात को ध्यान में रख कर ही घर से निकलें क्योंकि, दिल्ली ट्रैफिक पुलिस ने पहले ही लोगों को आगाह कर दिया है कि, यदि आप इस मेले में नहीं आना चाहते हैं तो इस परेशानी मुक्त यात्रा के लिए प्रगति मैदान की तरफ वाले रास्तों पर आने से बचे।

कुछ बातों का रखें ध्यान :

बताते चलें, ट्रेफिक पुलिस ने लोगों को पहले से ही सलाह दे दी है कि,

मेले में आने वालों को प्रवेश गेट नंबर 1, 4, 10, 11 और शिल्प संग्रहालय गेट से होगा

ITPO अधिकारियों के लिए प्रवेश गेट नंबर 4 और 10 से होगा

मेले में शाम 06.00 बजे के बाद प्रवेश नहीं मिलेगा

टिकट ऑनलाइन और चयनित मेट्रो स्टेशन से लेने होंगे, प्रगति मैदान में टिकटों की बिक्री नहीं की जाएगी

मथुरा रोड और भैरों मार्ग पर किसी भी वाहन को कहीं भी रुकने या पार्क करने की अनुमति नहीं दी जाएगी।

मेले में आने वालों को शेरशाह रोड, पुराना किला रोड, भगवान दास रोड व तिलक मार्ग पर पार्क करना होगा

इन सभी मार्गों पर बनी सड़कों पर यदि वाहन पार्क किए गए तो उन वाहनों को हटा दिया जाएगा

मथुरा रोड से भगवानदास रोड और सुब्रमण्यम भारती मार्ग की ओर राइट टर्न की अनुमति नहीं होगी

प्रगति मैदान पहुंचने के लिए मेट्रो समेत अन्य सार्वजनिक परिवहन का उपयोग करने की सलाह दी गई है

जो लोग अपने वाहनों से प्रगति मैदान जाएंगे वह भैरों मंदिर पार्किंग, भैरों रोड, दिल्ली चिडिय़ाघर,भगवान दास रोड पर पार्क कर सकते हैं

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अंतरराष्ट्रीय सहयोग

बहुपक्षीय स्थापित करने में, कृषि, सहकारिता और किसान कल्याण विभाग के खाद्य और कृषि संयुक्त राष्ट्र के संगठन (एफएओ) और विश्व खाद्य कार्यक्रम (डब्ल्यूएफपी) के साथ संपर्क के लिए भारत सरकार के नोडल विभाग है। इसके अलावा, डिवीजन में भी इस तरह जी -20, ब्रिक्स आदि जैसे अन्य निकायों के साथ विभाग की बातचीत का समन्वय।

द्विपक्षीय सहयोग में आईसी डिवीजन की भूमिका, प्रोटोकॉल और कार्य योजनाओं की signings के माध्यम से उन्हें लागू संयुक्त कार्य समूह की बैठकों का आयोजन, वैज्ञानिकों, अधिकारियों ने दर्शक के आदान-प्रदान के साथ ही करारों और समझौता ज्ञापनों (एमओयू) पर हस्ताक्षर करने के लिए प्रस्तावों के प्रसंस्करण में शामिल और किसानों, मंत्रियों और अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है डैक व परिवार कल्याण के अधिकारियों के साथ-साथ कृषि तथा संबद्ध क्षेत्रों के क्षेत्र में सहयोग को आगे बढ़ाने के लिए भारत में विदेशी गणमान्य अतिथि की बैठकों के विदेशी प्रतिनिधि मंडल की सुविधा।

इन गतिविधियों को विदेश मंत्रालय और अन्य संबंधित विभागों के मंत्रालय के साथ समन्वय में प्रदर्शन कर रहे हैं।

अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेले में पहुंचे मुख्यमंत्री योगी, यूपी पवेलियन का किया निरीक्षण

स्थानीय उत्पादों को वैश्विक स्तर पर ब्रांडिंग प्रदान करने के लिए पीएम के प्रति जताया आभार

अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेले में पहुंचे मुख्यमंत्री योगी, यूपी पवेलियन का किया निरीक्षण

नई दिल्ली/लखनऊ। मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी-20 समिट में भाग लेने गए हैं। यह गौरव की बात है कि भारत पीएम के नेतृत्व में अगले वर्ष तक जी-20 की अध्यक्षता करेगा। वहां जिन 20 विकसित देशों के राष्ट्राध्यक्ष आए हैं, उन्हें ओडीओपी ( वन जिला, एक उत्पाद) के उपहार प्रधानमंत्री की तरफ से दिए जा रहे हैं। इससे हमारे प्रोडक्ट को वैश्विक स्तर पर मान्यता मिल रही है। स्थानीय उत्पाद को वैश्विक स्तर पर नया ब्रांडिंग प्रदान करने के लिए मुख्यमंत्री ने पीएम के प्रति आभार जताया।

सीएम बुधवार को नई दिल्ली के प्रगति मैदान पर चल रहे 41वें भारतीय अंतरराष्ट्रीय व्यापार मेले में पहुंचे। वहां उन्होंने यूपी पवेलियन में लगे स्टॉलों का अवलोकन किया। सीएम ने कारीगरों, हस्तशिल्पियों से बात कर उनकी हौसलाअफजाई भी की।सीएम ने कहा कि 5 वर्ष के अंदर यूपी के परंपरागत उत्पाद को वैश्विक स्तर पर पहुंचाने के अनेक प्रयास हुए। इसके लिए हमने पहले मैपिंग कराई, फिर हर जिले के एक उत्पाद को चिह्नित कर डिजाइनिंग, मार्केटिंग, ब्रांडिंग व पैकेजिंग के लिए प्रोत्साहन दिया। हस्तशिल्पियों का प्रशिक्षण कराया। इस दौरान भी उन्हें मानदेय दिया। टूलकिट उपलब्ध कराए गए। प्रदर्शनियों में लाने- ले जाने के लिए हरसंभव सहयोग किया गया। उसका परिणाम है कि यूपी एक्सपोर्ट का हब बना है।

यूपी के विकास पर पड़ रहा था विपरीत असर

सीएम ने कहा कि इंडिया ट्रेड फेयर में आज यूपी डे है। उत्तर प्रदेश के स्टॉल का उद्घाटन हुआ है। प्रधानमंत्री जी ने अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है कोरोना के दौरान आत्मनिर्भर भारत का लक्ष्य और लोकल फॉर वोकल का स्लोगन दिया था। उनकी प्रेरणा से हम लोगों ने 2018 में यूपी अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है के परंपरागत उत्पादों की एक जिला, एक उत्पाद के रूप में ब्रांडिग की थी। यूपी इस दृष्टि से काफी समृद्धशाली है। वहां की आबादी 25 करोड़ है। हमारे पास 75 जनपद हैं और सभी के पास अपना कोई न कोई यूनिक उत्पाद है। उससे जुड़े कलस्टर पहले से हैं। इससे जुड़े हस्तशिल्पी व कारीगर सदियों से इस परंपरा से जु़ड़े हैं। समय के अनुरूप प्रोत्साहन, शासन-प्रशासन का सहयोग और तकनीक न मिलने से उनमें हताशा-निराशा थी। वे लोग इन कार्यों से मुंह मोड़ रहे थे। यूपी के विकास पर इसका विपरीत असर पड़ रहा था, इसलिए 2018 में यूपी दिवस पर ओडीओपी की अभिनव योजना प्रारंभ की गई, जो परंपरागत उत्पाद को प्रोत्साहित करने व उसे लोकल से ग्लोबल बनाने की मुहिमा का हिस्सा था। प्रसन्नता है कि यूपी का ओडीओपी पीएम के विजन के अनुरूप देश व विदेशों में भी समृद्ध हो रहा है।

यूपी का एक्सपोर्ट बढ़कर एक लाख 56 हजार करोड़ से अधिक का हो गया

सीएम ने बताया कि 2017-18 में यूपी का एक्सपोर्ट 86 हजार करोड़ का था, अब एक लाख 56 हजार करोड़ से अधिक का हो चुका है। इसमें अभी भी बहुत संभावनाएं हैं। एमएसएमई के कलस्टर के रूप में हस्तशिल्पी व कारीगर हैं। सरकार ने ओडीओपी व विश्वकर्मा श्रम सम्मान से उनके प्रोत्साहन के लिए कार्यक्रम चलाए। कोरोना में जब 40 लाख प्रवासी कामगार श्रमिक यूपी वापस आए थे तो ज्यादातर का समायोजन ओडीओपी के जरिए किया गया था। कोरोना में सबसे बड़ी आबादी वाले यूपी में भी अव्यवस्था नहीं फैली। ट्रेड फेयर का थीम पीएम की प्रेरणा से वोकल फॉर लोकल, लोकल फॉर ग्लोबल के साथ प्रारंभ हुआ। सभी 75 जनपदों अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है के उत्पाद को यहां डिस्प्ले किया गया है। इससे जुड़े हस्तशिल्पी और उनके प्रोडक्ट यहां हैं। उनके उत्पादों को वैश्विक मान्यता मिलना यूपी के लिए गौरव की बात है। यह आत्मनिर्भर भारत को बढ़ाने का कार्यक्रम है।

अंतरराष्ट्रीय सहयोग

बहुपक्षीय स्थापित करने में, कृषि, सहकारिता और किसान कल्याण विभाग के खाद्य और कृषि संयुक्त राष्ट्र के संगठन (एफएओ) और विश्व खाद्य कार्यक्रम (डब्ल्यूएफपी) के साथ संपर्क के लिए भारत सरकार के नोडल विभाग है। इसके अंतरराष्ट्रीय व्यापार क्या है अलावा, डिवीजन में भी इस तरह जी -20, ब्रिक्स आदि जैसे अन्य निकायों के साथ विभाग की बातचीत का समन्वय।

द्विपक्षीय सहयोग में आईसी डिवीजन की भूमिका, प्रोटोकॉल और कार्य योजनाओं की signings के माध्यम से उन्हें लागू संयुक्त कार्य समूह की बैठकों का आयोजन, वैज्ञानिकों, अधिकारियों ने दर्शक के आदान-प्रदान के साथ ही करारों और समझौता ज्ञापनों (एमओयू) पर हस्ताक्षर करने के लिए प्रस्तावों के प्रसंस्करण में शामिल और किसानों, मंत्रियों और डैक व परिवार कल्याण के अधिकारियों के साथ-साथ कृषि तथा संबद्ध क्षेत्रों के क्षेत्र में सहयोग को आगे बढ़ाने के लिए भारत में विदेशी गणमान्य अतिथि की बैठकों के विदेशी प्रतिनिधि मंडल की सुविधा।

इन गतिविधियों को विदेश मंत्रालय और अन्य संबंधित विभागों के मंत्रालय के साथ समन्वय में प्रदर्शन कर रहे हैं।

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